नई दिल्ली: आज कल कुछ किसान रासायनिक खेती के दुष्प्रभावों से परिचित होकर जैविक खेती को अपना रहे हैं। मगर अधिकतर किसान आज भी रसायनिक खेती ही कर रहे हैं। किसान मित्रों, यह तो जाहिर सी बात है कि कीटनाशक फसलों के लिए हानिकारक होते हैं। लेकिन क्या आपको पता है कि इसका सबसे अधिक नुकसान प्रयोग के दौरान किसान के स्वास्थ्य पर पड़ता है?
कीटनाशक के अधिक प्रयोग से प्रदूषण में वृद्धि होती है। साथ ही मित्र कीटों को नुकसान तो पहुँचता ही है किसान के स्वास्थ्य पर भी इसका नाकारात्मक प्रभाव पड़ता है। अधिक पैदावार लेने के लिए ज़्यादातर किसान रसायनिक उर्वरकों और कीटनाशकों का प्रयोग करते हैं। इस दौरान एक बात की ख़ास तौर पर सावधानी रखनी चाहिए कि कीटनाशकों का प्रयोग ख़ुद को सुरक्षित रखते हुए किया जाए। इसलिए रसायनिक कीटनाशकों का उपयोग करते समय कुछ सावधानियां बरतनी चाहिए। जैसे –
कीटनाशक का प्रयोग सिर्फ तब ही करें जब इसकी वास्तविक ज़रूरत हो।
हमेशा विशेषज्ञों द्वारा बताए गए कीटनाशक का ही प्रयोग करें। कीटनाशक के डब्बे पर दिए गए निर्देश को ध्यान से पढ़ें। क्योंकि कीटनाशक का छिड़काव करने वाले व्यक्ति को इसके प्रयोग की पूरी जानकारी होनी चाहिए।
कीटनाशक का छिड़काव करने वाले व्यक्ति के लिए रक्षात्मक वस्त्र जैसे चश्मा, पूरी बाजू की बंद कमीज, पूरा पायजामा, जूता, दस्ताना, टोपी, मास्क इत्यादि होने चाहिए।
कीटनाशक के छिड़काव के दौरान अपने पास पर्याप्त मात्रा में पानी, साबुन और तौलिया रखें।
कीटनाशक को हमेशा घर से दूर ताला बंद कमरे में रखें ताकि वह बच्चों व जानवरों की पहुँच से दूर रहे।
छिड़काव से पहले अपने आस पास मौजूद लोगों को सूचित कर दें कि वो अपनी त्वचा, आंख और मूँह को कीटनाशक के संपर्क में आने से बचाएँ।
किसी कारणवश यदि कीटनाशक प्रारंभिक अवस्था पेट में हो तो मरीज को उल्टी कराएँ। साथ ही खाली पेट में एक या दो चम्मच नमक आधे ग्लास पानी के साथ दें।
यदि मरीज खुद से उल्टी कर रहा हो तो उसे बलपूर्वक उल्टी नहीं कराएँ। पीड़ित व्यक्ति को किसी खुली जगह पर लिटाएँ ताकि उसे साँस लेने के लिए साफ हवा मिलती रहे।
मरीज को कंबल से ढँक दें, ताकि उसे ठंड नहीं लगे और आसपास का वातावरण शांत बनाएँ रखें।
यदि मरीज को सांस लेने में कठिनाई हो रही हो तो कृत्रिम तरीके से सांस दें।
यदि कीटनाशक का सीधा संपर्क त्वचा से हुआ हो तो शरीर एवं बाल को साबुन से धोएँ। यदि कीटनाशक का संपर्क आँख से हो तो उसे साफ पानी से धोएँ। किसी रसायनिक पदार्थ का उपयोग नहीं करें। किसान मित्रों, उपरोक्त बातों का ध्यान रखकर आप खुद को सुरक्षित रखते हुए कृषि कार्य कर सकते हैं।