नई दिल्ली: मौसम विभाग द्वारा जारी रिपोर्ट के अनुसार, बंगाल की खाड़ी के ऊपर हवा के कम दबाव के कारण विक्षोभ की स्थिति उत्पन्न हो रही है। इससे बिहार में अच्छी बारिश के आसार दिख रहे हैं। मॉनसून के तीसरे महीने के पहले सप्ताह में विशेषज्ञों ने अच्छी बारिश की संभावना जताई है, जिससे खरीफ सीजन में धान की खेती के लिए पर्याप्त वर्षा मिल सकती है। यहां तक कि कुछ जिलों में घटते जलस्तर से निजात मिलने की भी उम्मीद दिख रही है। राज्य के दक्षिणी पश्चिमी भागों, जैसे कि किशनगंज, भभुआ, और रोहतास जिलों में आने वाले 6 अगस्त तक तेज हवा के साथ भारी बारिश की संभावना है। उत्तरी बिहार के जिलों में मध्यम बारिश की उम्मीद है। ऐसे में, जिन किसानों ने अभी तक धान की रोपनी नहीं की है, उन्हें धान की खेती करने का एक अच्छा मौका मिल सकता है।
मौसम विभाग ने गुरुवार को किशनगंज, भभुआ और रोहतास जिलों में भारी बारिश की संभावना व्यक्त की है। राजधानी पटना में रुक-रुक हो रही बारिश ने लोगों को गर्मी से राहत दी है। बीते 24 घंटे के दौरान बिहार के कैमूर जिले के अधवारा में सबसे अधिक 81.4 मिमी बारिश दर्ज की गई है। प्रदेश के विभिन्न जिलों के किसान अगले कुछ दिनों में बारिश की संभावित प्रचूरता की वजह से धान की रोपनी कर सकते हैं। इस दौरान बेहतर होगा कि वो अपनी फसलों पर बिना सलाह दवाओं का इस्तेमाल न करें, क्योंकि बारिश की वजह से दवा धुल जाएगी। जिन क्षेत्रों में धान की रोपाई के लिए किसानों को अब तक समुचित मात्रा में पानी नहीं प्राप्त हो सका है, वहाँ के किसान धान की खेती के स्थान पर वैकल्पिक फसलों की खेती के बारे में विचार कर सकते हैं।
बिहार के मौसम से जुड़ी ताज़ा जानकारी के अनुसार, गुरुवार को किशनगंज, भभुआ, और रोहतास जिलों में भारी बारिश के आसार हैं। इसके साथ ही, कैमूर जिले के अधवारा में 81.4 मिमी, कूदरा में 69.5 मिमी, किशनगंज में 80.4 मिमी, लक्ष्मीपुर (जमुई) में 76 मिमी, अलालनगर (मधेपुरा) में 74.8 मिमी, नौहट्टा में 66.2 मिमी, संग्रामपुर (मुंगेर) में 61.2 मिमी और नवीनगर (औरंगाबाद) में 55.2 मिमी की बारिश दर्ज की गई है।