कृषि पिटारा

अब गेहूं खरीद में दिख रही है मामूली तेजी

नई दिल्ली: अभी कुछ दिनों पहले तक गेहूं की खरीद शुरू होने के बावजूद मंडियों में सन्नाटा पसरा था। लेकिन अब धीरे-धीरे किसान मंडियों का रुख करने लगे हैं। अधिकांश राज्यों में 1 अप्रैल से गेहूं की खरीद शुरू हो चुकी है। हरियाणा में अबतक 8.22 लाख किसानों ने गेहूं बेचा है। इसके एवज में किसानों के खाते में 39,050 करोड़ रुपये की राशि जारी की जाएगी। हरियाणा में गेहूं न्यूनतम समर्थन मूल्य 2,125 रुपये प्रति क्विंटल तय किया गया है। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार यहाँ गेहूं खरीदी में 43% की वृद्धि दर्ज की गई है। पिछले साल 25 अप्रैल तक हरियाणा में 36.8 लाख टन गेहूं खरीदा गया था, लेकिन इस बार यह आंकड़ा 52.6 लाख टन पर पहुंच गया है।

राजस्थान में पिछले वर्ष के मुकाबले गेहूं खरीद में मामूली वृद्धि देखी गई है। इस साल 25 अप्रैल तक यहाँ 38,124 टन गेहूं खरीदा गया है, जो कि पिछले वर्ष से 737 टन से अधिक है। केंद्र सरकार बिहार से 10 लाख टन, राजस्थान से 0.5 लाख टन और गुजरात से 0.2 लाख टन गेहूं खरीदने का लक्ष्य निर्धारित किया है।

पंजाब में भी इस बार पिछले वर्ष के मुकाबले गेहूं खरीद में वृद्धि देखने को मिल रही है। यहां पर पिछले साल 25 अप्रैल तक 78.4 लाख टन गेहूं की खरीद हुई थी, जो कि पिछले साल से 7 प्रतिशत अधिक है। यहाँ 25 अप्रैल तक 83.6 लाख टन गेहूं की खरीदी हो चुकी है। पंजाब में इस वर्ष 1.32 करोड़ टन गेहूं खरीद का लक्ष्य रखा गया है। उत्तर प्रदेश के बाद गेहूं उत्पादन में सबसे बड़ा योगदान पंजाब का है। पिछले साल कुल केंद्रीय पूल खरीद के आधे से अधिक गेहूं की खरीद पंजाब से ही की गई थी।

अगर मध्य प्रदेश की बात करें तो यहाँ 25 अप्रैल तक 46.2 लाख टन गेहूं की खरीद हो चुकी है, जो कि पिछले साल के मुकाबले 79% अधिक है। पिछले वर्ष इस अवधि के दौरान यहाँ 25.8 लाख टन गेहूं की खरीद हुई थी। इसी तरह उत्तर प्रदेश में गेहूं खरीदी में 7% की बढ़ोतरी हुई है। यहां पर 25 अप्रैल तक 94,633 टन गेहूं की खरीद हुई है। जबकि पिछले वर्ष यह आंकड़ा 88,158 टन था।

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